Biology in Hindi : जीव विज्ञान क्या है?

Biology in Hindi : जीव विज्ञान क्या है? : दोस्तों, जैसा कि हम सभी जानते हैं कि विज्ञान विषय के अंतर्गत भौतिक विज्ञान, रसायन विज्ञान और जीव-विज्ञान जैसे विषयों का अध्ययन करना शामिल है. इस लेख के माध्यम से हम जीव-विज्ञान के बारे में विस्तारपूर्वक समझने का प्रयास करेंगे. जीव-विज्ञान, जैसा कि इसके नाम से ही प्रतीत हो रहा है यह विषय समस्त जीवधारियों का अध्ययन करने से सम्बंधित है.

हम जितने भी वैज्ञानिक प्रगति देखते हैं वह सब मानव जिज्ञाषा के कारण ही संभव हो सका है. क्या आप जानते हैं कि गुरुत्वाकर्षण के सिद्धांत (laws of gravitation) कैसे स्थापित हो पाई? यह जिज्ञाषा के कारण ही संभव हो पाया. इसके पीछे एक बहुत ही रोचक प्रसंग है कि जब महान वैज्ञानिक न्यूटन ने पेड़ से सेब को निचे गिरते हुए देखा तो उन्होंने सोंचा कि यह सेब आखिर निचे ही क्यों गिरा? ऊपर आकाश की ओर क्यों नहीं गया? और इसी जिज्ञाषा के बल पर उनके द्वारा गुरुत्वाकर्षण के सिद्धांत स्थापित किया गया. यह तो सिर्फ एक उदाहरण है ऐसे कई उदहारण हमारे सामने मौजूद हैं जो मानव जिज्ञाषा के कारण हुई महान खोजों के बारे में हमें बताते हैं.

जीव-विज्ञान का अध्ययन भी हम मानवों के जिज्ञाषु प्रकृति होने के कारण ही प्रारम्भ हो सका और निरंतर विकास करता गया. कैसे प्राणियों के बच्चे बढ़कर अपने माता – पिता के समान हो जाते हैं? एक छोटे से अंकुर विशाल वृक्ष में कैसे परिवर्तित हो जाता है? ऐसे ही कई दिलचस्प प्रश्नों के उत्तर की तलाश करने के कारण जीव-विज्ञान के अंतर्गत काफी खोजें हुई. पशुओं को पालने, पेड़-पौधों को अपनी सुविधानुसार उगाने की कला विकसित हुई, चिकित्सा विज्ञान में भी काफी तरक्की हुई.

अब आते हैं अपने मौलिक प्रश्न कि ओर कि – जीव-विज्ञान क्या है? इस प्रश्न को विस्तारपूर्वक समझने के लिए कृपया इस लेख (Biology in Hindi) के साथ अंत तक बने रहें.

Biology in Hindi : जीव विज्ञान क्या है?

जीव-विज्ञान जिसे अंग्रेजी में हम ‘Biology’ के नाम से जानते हैं. Biology जहाँ Bio का अर्थ जीवन (life) है और Logos का अर्थ अध्ययन (study) होता है, अर्थात जीवन का अध्ययन करना ही Biology (Bio+Logos) कहलाता है. इस विषय के अंतर्गत समस्त जीवधारियों का विस्तारपूर्वक अध्ययन किया जाता है. ज्ञात हो कि आधुनिक जीव-विज्ञान काफी विस्तृत हो चुकी है.

यहाँ पर जीवधारियों से आशय है कि सम्पूर्ण वनस्पति जगत, मानव सहित प्राणी जगत, जीवाणु आदि का विस्तृत अध्ययन जीव-विज्ञान के अंतर्गत किया जाता है.

क्या आप जानते हैं कि जीव-विज्ञान शब्द का सर्वप्रथम प्रयोग किसने किया था? फ्रांस के लैमार्क (Lamarck) एवं जर्मनी के ट्रेविरेनस (Treviranus) नामक वैज्ञानिकों ने 1801 ई. में जीव-विज्ञान शब्द का प्रयोग सर्वप्रथम किया था.

जीव-विज्ञान के अंतर्गत निम्न विषयों का अध्ययन करना शामिल है जैसे –

  • जीवधारियों की उत्पत्ति
  • जीवधारियों का विकास
  • उनकी रचना, क्रियाकलाप
  • उनकी पारस्परिक क्रियाएं
  • वातावरण का उन पर प्रभाव
  • जीवों की संरचना
  • उनकी पहचान, वर्गीकरण
  • उनकी मृत्यु आदि

जीव-विज्ञान की शाखाएं

दोस्तों, बहुत से नयी – नयी तकनीक और नए – नए उपकरणों के विकसित होने के उपरांत जीव-विज्ञान की कई शाखाओं का जन्म हुआ है जिनमें प्रमुख रूप से वनस्पति विज्ञान (Botany), प्राणी विज्ञान (Zoology), सूक्ष्मजीव विज्ञान (Microbiology), कृषि विज्ञान (Agriculture), चिकित्सा शास्त्र (Medical Science), औषधि विज्ञान (Pharmacy), पशुचिकित्सा विज्ञान (Verterinary Science).

वनस्पति विज्ञान (Botany), प्राणी विज्ञान (Zoology), सूक्ष्मजीव विज्ञान (Microbiology) के अंतर्गत पेड़-पौधों, प्राणियों तथा सूक्ष्मजीवों के बारे में मौलिक अध्ययन किया जाता है लेकिन इनकी भी विभिन्न शाखायें होते हैं जैसे –

  • Anatomy (शरीर-रचना-विज्ञान/शारीरिकी) – जीवित चीजों के अंगों की आंतरिक रचना का अध्ययन.
  • Embroyology (भ्रूणविज्ञान) – भ्रूण विकास से सम्बंधित बातों का अध्ययन.
  • Genetics (आनुवंशिकी) – आनुवंशिकी के सिद्धांतों का अध्ययन.
  • Entomology (कीटविज्ञान) – विभिन्न प्रकार के कीटों की संरचना, प्रकृति आदि का अध्ययन.
  • Dendrology (वृक्ष का विज्ञान) – वृक्षों के बारे में गहन अध्ययन.
  • Cytology (कोशिका विज्ञान) – कोशिका तथा कोशिकांगों की संरचना का अध्ययन.
  • Phycology (शैवाल विज्ञान) – इसके अंतर्गत शैवाल समूहों का अध्ययन किया जाता है.
  • Hydrology (जल विज्ञान) – भूमि जल का अध्ययन.
  • Ethology (एथोलॉजी) – प्राणियों के व्यवहार का अध्ययन आदि.
  • Ecology (पारिस्थितिकी) – प्राणियों के आपसी संबंध तथा अन्य जीवों तथा वातावरण के साथ उनके भौतिक संबंधों का अध्ययन.

जीवधारियों का वर्गीकरण

अरस्तू का नाम आपने सुना होगा और यदि नहीं सुना है तो आपकी जानकारी के लिए बता दूँ कि अरस्तू यूनान के एक महान दार्शनिक और शिक्षक रहे हैं. वे मानव इतिहास के महानतम बुद्धिजीवियों में से एक माने जाते हैं. जीवविज्ञान के क्षेत्र में भी उनका काफी योगदान रहा है इसलिए उन्हें जीव विज्ञान का जनक (father of biology) कहा जाता है.

अरस्तू के द्वारा जीवों को जंतु समूह और वनस्पति समूह में विभाजित किया गया.

ज्ञात हो कि समय – समय पर जीवों के वर्गीकरण में कई परिवर्तन आये और अंततः वर्ष 1969 में R. H. Whittaker द्वारा प्रस्तावित 5 जगत प्रणाली आयी जो आज भी मान्य है. पांच जगत प्रणाली में जीवों का वर्गीकरण निम्न प्रकार है –

  1. Monera (मोनेरा)
  2. Protista (प्रॉटिस्टा)
  3. Plantae (पादप)
  4. Fungi (कवक)
  5. Animal (जंतु)

जीव विज्ञान के छात्रों के लिए कोर्स

वैसे तो विज्ञान के छात्रों के लिए कई विकल्प मौजूद होते हैं. 12वीं के बाद करियर विकल्प का चुनाव करना किसी भी छात्रों के लिए महत्वपूर्ण निर्णय होता है. जिन छात्रों की रूचि बायोलॉजी में है वैसे छात्र 12th बायोलॉजी के बाद निम्न पाठ्यक्रमों के साथ आगे बढ़ सकते हैं –

  • एमबीबीएस
  • बैचलर ऑफ डेंटल सर्जरी
  • बीएससी
  • नर्सिंग
  • पैरामेडिकल कोर्स
  • आयुर्वेद, चिकित्सा और सर्जरी के स्नातक
  • फार्मेसी
  • बैचलर ऑफ होम्योपैथिक मेडिसिन एंड सर्जरी
  • इसके साथ-साथ आप अन्य स्ट्रीम जैसे बी.ए. आदि में भी जा सकते है

अंतिम बात

जीव विज्ञान के साथ आगे बढ़ रहे छात्रों के पास करियर के कई विकल्प मौजूद होते हैं. डॉक्टर के आलावा ऐसे कई क्षेत्र हैं जहाँ आप इस विषय के साथ आगे बढ़ सकते हैं. अंत में मैं उम्मीद करता हूँ कि यह लेख (Biology in Hindi : जीव विज्ञान क्या है?) आपको जरूर पसदं आयी होगी और यह लेख यदि आपको पसंद आयी हो तो कृपया इस पोस्ट को अपने दोस्तों के साथ शेयर करना न भूलें.

Lal Anant Nath Shahdeo

मैं इस हिंदी ब्लॉग का संस्थापक हूँ जहाँ मैं नियमित रूप से अपने पाठकों के लिए उपयोगी जानकारी प्रस्तुत करता हूँ. मैं अपनी शिक्षा की बात करूँ तो मैंने Accounts Hons. (B.Com) किया हुआ है और मैं पेशे से एक Accountant भी रहा हूँ.

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