प्रत्येक वर्ष 15 अगस्त को भारत के लोग आजादी का पर्व स्वतंत्रता दिवस मानते हैं. यह भारत का राष्ट्रीय पर्व है. सन 1947 को इसी दिन ब्रिटिश शासन से भारत के निवासियों को आजादी प्राप्त हुई थी. सदियों की गुलामी और अंग्रेजों के अत्याचारों से त्रस्त यहाँ के निवासियों के ह्रदय में जो विद्रोह की ज्वाला भड़की, आज उसी विद्रोह का परिणाम है की हमें आजादी प्राप्त हुई है. इस वर्ष 2020 में 74वां स्वंत्रता दिवस मनाया जायेगा. चलिए जानते हैं की स्वतंत्रता दिवस क्यों मनाया जाता है?
इस दिन राजपत्रित अवकाश होती है. लोगों के द्वारा अपने – अपने हिसाब से इस दिन को याद किया जाता है. कुछ लोगों के लिए इस दिन का अवकाश सिर्फ मौज – मस्ती वाला होता है और कुछ नहीं. हमें जगह – जगह पर राष्ट्रीय ध्वज फहराते लोग, देशभक्ति गानों के धुन और बहुत से कार्यक्रम देखने – सुनने को मिलते हैं.
हम उत्सव मनाएं ठीक है किन्तु देश के प्रति श्रधा, स्वंत्रता के लिए प्राणों की आहुति देने वाले अमर बलिदानियों का सम्मान करें और इस भाव का संचार नयी पीढ़ियों में भी करने का प्रयास करें. यह हमारा कर्त्तव्य है.
हमने इतिहास पढ़े हैं, किताबें पढ़ी हैं जहाँ पर हमे अमर सेनानियों के बारे में बताया जाता है. ऐसे अनेकों वीरों के नाम हमे इतिहास के पन्नों में मिल जायेंगे जिन लोगों के त्याग, तपस्या, वीरता और बलिदान के कारण हमें आजादी मिली है किन्तु ऐसे भी अनगिनत लोग हैं जिनके बलिदान की गाथाएं इतिहास के पन्नों में जगह नहीं बना पाई.
मैं तर्क – वितर्क में ज्यादा समय गंवाना नहीं चाहता हूँ बस इतना कहना चाहता हूँ कि उन वीरों की गौरव गाथाएं और उनके आदर्श अपने समक्ष रखें और श्रधापूर्वक उनका सामान करें.
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15 August 2020 – 74वां स्वतंत्रता दिवस
इस वर्ष 2020 में भारत अपना 74वां स्वतंत्रता दिवस मनायेगा. हमारे माननीय प्रधानमंत्री जिस बात पर सबसे अधिक जोर देते हैं वो है – आत्मनिर्भर भारत. इस वर्ष 15 अगस्त यानि स्वतंत्रता दिवस का थीम भी है आत्मनिर्भर भारत. कोरोना जैसे वैश्विक महामारी को हम सभी झेल रहे हैं और ऐसे संकट काल में आत्मनिर्भर अभियान काफी प्रभावी माना जा सकता है.
देश भर में कोरोना संकट को मध्यनजर रखते हुए इस बार का हमारा राष्ट्रीय त्योहार थोडा अलग होगा. सामजिक दूरी को बनाये रखने के कारण शायद इसबार इतना जोश नहीं दिखेगा. जिस उत्साह के साथ स्कूल – कॉलेज के छात्र – छात्राएं इस त्योहार में शामिल होते थे वहां भी सूनापन देखने को मिल सकता है.
लाल किले के प्राचीर से दिया जानेवाला प्रधानमंत्री का भाषण भी इसबार भिन्न होगा किन्तु विभिन्न टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल कर प्रधानमंत्री का ओजपूर्ण भाषण जन – जन तक पहुंचाने का व्यापक इन्तेजाम किया जा रहा है.
स्वतंत्रता दिवस क्यों मनाया जाता है?
जब किसी देश को गुलामी से आजादी मिलती है तो उस दिन को आजादी का दिन या स्वतंत्रता दिवस के रूप में मनाया जाता है. इस दिन राष्ट्रीय अवकाश रहती है. दुनिया के विभिन्न देशों में अलग – अलग तरीकों से अपनी आजादी का त्यौहार मनाया जाता है.
भारत देश को आजादी 15 अगस्त 1947 को प्राप्त हुई थी. इसी दिन भारत के प्रथम प्रधानमंत्री पंडित जवाहरलाल नेहरु ने, दिल्ली के लाल किले के लाहौरी गेट के ऊपर भारतीय राष्ट्रीय ध्वज तिरंगा फहराया था.
प्रत्येक वर्ष इसी दिन देश के प्रधानमंत्री के द्वारा लाल किले के प्राचीर से देश को संबोधित किया जाता है और राष्ट्रीय ध्वज फहराया जाता है. पुरे भारत देश में विभिन्न तरह के कार्यक्रमों का आयोजन किया जाता है. झंडा फहराना, परेड, सांसकृतिक कार्यक्रम तथा देशभक्ति गीतों से पूरा देश गुंजायमान रहता है.
प्रत्येक भारतीय राज्यों में वहां के मुख्यमंत्री के द्वारा ध्वजारोहन किया जाता है. सांस्कृतिक केन्द्रों, शैक्षिक संस्थानों, आवासिय संघों आदि में अपने – अपने स्तर से इस कार्यक्रम का आयोजन किया जाता है.
स्वतंत्रता दिवस सन 1947 से भारत में प्रत्येक वर्ष मनाया जाता है. जिन स्वंत्रता सेनानियों के द्वारा अतीत में आजादी की लड़ाई लड़ी गयी थी उन्हें लोग इस दिन श्रधापूर्वक श्रद्धांजलि अर्पित करते हैं. कई टी. वी. चैनलों पर इस दिन देशभक्ति फिल्मों का प्रसारण किया जाता है .
भारतीय राष्ट्रीय ध्वज तिरंगा
तीन रंगों और नीले रंग के चक्र से सुशोभित तिरंगा से आप भलीभांति परिचित होंगे. यह भारत का राष्ट्रीय ध्वज है. इसमें क्षैतिज एकसमान चौड़ाई की तीन पट्टी होती है. सबसे ऊपर केसरिया बीच में सफ़ेद और निचे हरे रंग की पट्टी होती है. मध्य में जो सफ़ेद पट्टी होती है उसमे नील रंग का एक चक्र होता है जिसमे 24 आरे होते हैं.
भारतीय राष्ट्रीय ध्वज हमें आत्मरक्षा, शांति, समृद्धि और सदैव विकास की ओर अग्रसर रहने का सन्देश देता है. राष्ट्रीय झंडा स्वंत्रता का प्रतिक है जो हर देश के पास अपना – अपना होता है.
उपसंहार – स्वतंत्रता दिवस क्यों मनाया जाता है?
यह दिन भारतियों के लिए एक ऐतिहासिक दिन है. जब हम तिरंगा को शान से आसमान में लहराते हुए देखते हैं तब हमारा मस्तक गर्व से उठ जाता है, और दिल से एक ही आवाज निकलती है कि हम भारत जैसे महान देश के वासी हैं . हम हिन्द देश के निवासी हैं जिसका इतिहास महान लोगों की गौरव गाथाओं से भरी पड़ी है.
हम उस देश के निवासी हैं जिसकी सभ्यता बहुआयामी हैं और जो विभिन्न धर्मों और संस्कृतियों की जननी है. हम उस देश के निवासी हैं जहाँ विविधताओं में एकता है.
स्वतंत्रता दिवस पर महान लोगों के विचार
सुभाष चन्द्र बोस – तुम मुझे खून दो, मैं तुम्हे आजादी दूंगा.
लाल बहादुर शास्त्री – जय जवान जय किसान.
बंकिम चन्द्र चट्टोपाध्याय – वन्दे मातरम् .
महात्मा गाँधी – अंग्रेजों भारत छोड़ो.
भगत सिंह – इन्कलाब जिंदाबाद.
रामप्रसाद बिस्मिल – सरफरोसी की तमन्ना अब हमारे दिल में है.
सुभाष चन्द्र बोस – दिल्ली चलो.
सुभाष चन्द्र बोस – जय हिन्द.
लोकमान्य तिलक – स्वंत्रता हमारा जन्मसिद्ध आधिकार है.
ऐ मेरे वतन के लोगों
तुम खूब लगा लो नारा
ये शुभ दिन है हम सब का
लहरा लो तिरंगा प्यारा
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